📘 आख़िरी पन्ना – पाठक से संवाद
Himansh 🌼 (Shivam Yadav) · Book: मर्द की बात — Final Page
“किताबें अक्सर वहीं ख़त्म होती हैं जहाँ आख़िरी शब्द लिखा जाता है। पर यह किताब वहाँ से शुरू होती है — जहाँ तुम्हारी चुप्पी है।”
🪶 अंतिम संवाद
यह किताब कोई अंत नहीं, एक शुरुआत है। हर अध्याय एक पुकार था — और हर पुकार एक बदलाव। अगर आपने इसे पढ़ते हुए अपने पिता की चुप्पी को महसूस किया, दोस्त की हँसी के पीछे का दर्द पहचाना, या अपने भीतर की थकान को शब्द दिए — तो समझिए, यह किताब अब आपकी है।
“मर्द की बात” केवल एक पुस्तक नहीं, एक आंदोलन है। किताबें बंद होती हैं, पर संवाद नहीं। अब तुम्हारी बारी है बोलने की — और मेरी बारी है सुनने की।
“मैंने यह किताब लिखी नहीं, जी है। हर शब्द मेरी डायरी से निकला है, हर पंक्ति मेरी चुप्पी से।”
अगर इसमें तुम्हें अपना कोई दर्द, कोई सवाल या कोई सच्चाई मिली — तो यह किताब हमारी है। तुम्हारी और मेरी। एक साझा यात्रा, जहाँ हम सब एक-दूसरे को समझना सीख रहे हैं।
🎙️ आगे की यात्रा
- “मर्द की बात” श्रृंखला को ऑडियोबुक और पॉडकास्ट के रूप में लाना।
- @himansh.reads और Himansh World पर खुला संवाद शुरू करना।
- “Men & Emotions” नाम से bilingual वेब आर्टिकल सीरीज़।
- CMP Degree College में विमर्श सत्र और भावनात्मक शिक्षा अभियान।
“यह किताब एक शुरुआत है। और तुम, पाठक — इस शुरुआत के पहले साथी हो।”
— Shivam Yadav (Himansh 🌼)
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Himansh 🌼 (Shivam Yadav)
Creator — Himansh World / EduSerene. उद्देश्य: संवेदनशील विमर्श, शोध-सक्षम सामग्री और समावेशी संवाद।
संपर्क: eduserene@gmail.com
© Himansh 🌼 | EduSerene — मर्द की बात · Final Page